गुरुवार, 31 दिसंबर 2020

नया साल मुबारक हो happy new year

2020 चला गया बहुत कुछ सीखा कर गया ज़िन्दगी अनिश्चित है अहंकार व्यर्थ है 

Hospital के बेड पर सारी सच्चाई मालूम पड़ जाती है ,हमारी ज़िन्दगी का तो छोड़ो पूरी प्रथ्वी की ज़िन्दगी भी तो अनिश्चित है विनाश के कई साधन है न्यूक्लियर बॉम्ब उल्का पिंड और ना जाने क्या क्या 

 ज़िन्दगी को मजे में जीना , 

2021 को यादगार बनाना नए संकल्प लेना और अमल करना 

ज़िन्दगी को khoobsurat bana लेना






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क़ीमत

क़ीमत भी अदा करनी पड़ी हमे उस रिश्ते की जिसकी कोई क़ीमत न थी