मंगलवार, 15 दिसंबर 2020

घर का स्वाद

घर के खाने स्वाद कभी कोई नहीं भूल पाता घर के खाने के स्वाद में ही एक अलग ही मजा है घर पर खाना जब मैं पढ़ाई के लिए अपने घर से दूर इंदौर में रहा करती थी मुझे बाहर खाना पड़ता था पर वह स्वाद नहीं था जो मां के हाथ के खाने में था क्योंकि वह प्यार होटल वाला यह बाहर कोई नहीं दे सकता खाने में जान डाल देता है मां के हाथ का बना खाना खाना जब हम बना रहे होते हैं तो बहुत ही ज्यादा जरूरी हो जाता है कि बनाने वाले का स्टेट ऑफ माइंड किया है वह किस मेंटल स्टेट से खाना बना रहा है अगर वह गुस्सा होकर बना रहा है तो खाना बेकार ही बनेगा टेस्टलेस बनेगा इसलिए कहते हैं जब भी खाना बनाओ अच्छे मन से बनाओ बहुत ही टेस्टी बनता है मेरी मां हमेशा कहती थी यह बात और आज भी उस बात पर अमल कर रही हूं सच में खाना बहुत ही टेस्टी बनता है जब भी बनाती हूं
ऊर्जा को खाने में डालिए प्यार से परोसिए 

सोमवार, 14 दिसंबर 2020

बेरोजगार आशिक़

दिल की हसरतें थी तुम्हे, पाने की
बेरोज़गारी ने उनको ज़िंदा गाड़ दिया 

Nagphani cactus

बनना है तो नाग फनी बनो छुईमुई नहीं  



Meri dadi ki kahani


दादी है बहुत याद आती 
कभी हसती थी कभी रुलाती थी
बात ना मानने पर गुस्सा हो जाया करती थी 
कभी बिन बात मम्मी से लड़ जाया करती थी ,
कुछ खट्टी थी कुछ मीठी थी
मेढक  मेढकी की कहानी सुनाया करती थी 
मम्मी वक्त पर खाना ना बना पाए तो 
स्कूल में टिफिन देने आया करती थी 
दिन पसंद नहीं था उनको शायद
इसीलिए
 गाव से हमेशा रात में आया करती थी 


एक अरसा बीत गया उनको गए 
 लेकिन याद कभी कभी आ जाया करती है ।

Happy engagement

ये सिर्फ सगाई की अंगूठी नहीं जीवन भर साथ निभाने का वादा है तुमसे 

शुक्रवार, 11 दिसंबर 2020

बुधवार, 9 दिसंबर 2020

Prakarti ke uphar

सुबह का समय बहुत ही मनमोहक होता है यह मेरा पसंदीदा समय है सुबह का समय ऐसा है कि मानो नव जीवन की शुरुआत 
सुबह का सूरज सकारात्मकता का संदेश लेकर आता है काली रात को दूर कर उजाला फैलाता है
पक्षियों की चहचहाहट का संगीत चारों ओर फैल जाता है प्रकृति हमसे कितना प्यार करती है।
उड़ते हुए आकाश में पक्षी खुला आसमान सुबह की हल्की हल्की भीनी भीनी ठंडक और गरमा गरम चाय आहा बहुत ही खूबसूरत समय होता है दिन का
सुबह ऐसी लगती है मानो किसी बच्चे का जन्म हुआ हो बच्चे की त्वचा कोमल नरम मुलायम होती है वैसे ही सुबह की त्वचा यानी सुबह का वातावरण कोमल स्वच्छ साफ होता है इसलिए भोर का समय मुझे बेहद पसंद है 
हमें प्रकृति का आभार व्यक्त करना चाहिए जो हमारे लिए इतना कुछ करती है शारीरिक और मानसिक रूप से दोनों रूप से

क़ीमत

क़ीमत भी अदा करनी पड़ी हमे उस रिश्ते की जिसकी कोई क़ीमत न थी